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हरियाणा में मॉक ड्रिल: 11 जिलों में ब्लैकआउट व सायरन के साथ युद्ध सतर्कता का अभ्यास, हमले के बाद बढ़ी सतर्कता

 

हरियाणा में मॉक ड्रिल: 11 जिलों में ब्लैकआउट व सायरन के साथ युद्ध सतर्कता का अभ्यास, हमले के बाद बढ़ी सतर्कता

हरियाणा में बजा सायरन और आवाज गूंजते ही बचाव दल पहुंचा और घायलों को अस्पताल पहुंचा दिया। डरें नहीं......यह वास्तविक स्थिति में नहीं, बल्कि पाकिस्तान पर किए गए एयर स्ट्राइक के बाद किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए की मॉक ड्रिल की प्रक्रिया के दौरान किया गया।



विस्तार

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल 2025 को हुए आतंकी हमले, जिसमें 26 लोगों की जान गई। इसके बाद भारत की जवाबी कार्रवाई ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के चलते भारत-पाकिस्तान तनाव के बीच हरियाणा के 11 जिलों में 7 मई 2025 को सिविल डिफेंस मॉक ड्रिल आयोजित की गई। केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देश पर यह अभ्यास हवाई हमले या युद्ध जैसी आपात स्थितियों में नागरिकों, प्रशासन, और सुरक्षा बलों की तैयारियों को परखने के लिए किया गया।

हरियाणा के अंबाला, फरीदाबाद, गुरुग्राम, हिसार, पंचकूला, पानीपत, रोहतक, सिरसा, सोनीपत, यमुनानगर, और झज्जर में मॉक ड्रिल आयोजित हुई। इन जिलों में सायरन, ब्लैकआउट, और निकासी अभ्यास के साथ युद्धकालीन परिस्थितियों का अनुकरण किया गया। अतिरिक्त गृह मुख्य सचिव डॉ. सुमिता मिश्रा ने बताया कि राज्य और जिला स्तर पर कंट्रोल रूम सक्रिय किए गए हैं, जो आपातकालीन सूचनाओं और प्रतिक्रियाओं का समन्वय करेंगे।

हरियाणा में मॉक ड्रिल: 11 जिलों में ब्लैकआउट व सायरन के साथ युद्ध सतर्कता का अभ्यास, हमले के बाद बढ़ी सतर्कता

अमर उजाला नेटवर्क, हरियाणा Published by: नवीन दलाल Updated Wed, 07 May 2025 06:54 PM IST

सार

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हिसार

हरियाणा में बजा सायरन और आवाज गूंजते ही बचाव दल पहुंचा और घायलों को अस्पताल पहुंचा दिया। डरें नहीं......यह वास्तविक स्थिति में नहीं, बल्कि पाकिस्तान पर किए गए एयर स्ट्राइक के बाद किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए की मॉक ड्रिल की प्रक्रिया के दौरान किया गया।

Mock drill in Haryana Practice of war alertness with blackout and siren appeal to citizens of state

हरियाणा में मॉक ड्रिल - फोटो : अमर उजाला

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विस्तार

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल 2025 को हुए आतंकी हमले, जिसमें 26 लोगों की जान गई। इसके बाद भारत की जवाबी कार्रवाई ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के चलते भारत-पाकिस्तान तनाव के बीच हरियाणा के 11 जिलों में 7 मई 2025 को सिविल डिफेंस मॉक ड्रिल आयोजित की गई। केंद्रीय गृह मंत्रालय के निर्देश पर यह अभ्यास हवाई हमले या युद्ध जैसी आपात स्थितियों में नागरिकों, प्रशासन, और सुरक्षा बलों की तैयारियों को परखने के लिए किया गया।

 

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हरियाणा के अंबाला, फरीदाबाद, गुरुग्राम, हिसार, पंचकूला, पानीपत, रोहतक, सिरसा, सोनीपत, यमुनानगर, और झज्जर में मॉक ड्रिल आयोजित हुई। इन जिलों में सायरन, ब्लैकआउट, और निकासी अभ्यास के साथ युद्धकालीन परिस्थितियों का अनुकरण किया गया। अतिरिक्त गृह मुख्य सचिव डॉ. सुमिता मिश्रा ने बताया कि राज्य और जिला स्तर पर कंट्रोल रूम सक्रिय किए गए हैं, जो आपातकालीन सूचनाओं और प्रतिक्रियाओं का समन्वय करेंगे।

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जिलों में मॉक ड्रिल की प्रमुख गतिविधियां

पानीपत में जिला सचिवालय, इंडियन ऑयल रिफाइनरी, एनएफएल, और थर्मल पावर स्टेशन में मॉक ड्रिल। शाम 7:30 से 7:40 बजे तक 10 मिनट का ब्लैकआउट। सायरन के साथ कर्मचारियों ने निकासी का अभ्यास किया।

करनाल में शाम 4:00 बजे सायरन के साथ लघु सचिवालय, पुराना बस स्टैंड, और नेहरू मार्केट में अभ्यास किया।

झज्जर में लघु सचिवालय में फायरिंग और आग की स्थिति का अनुकरण किया गया। वहीं, फायर ब्रिगेड ने आग बुझाई, और एम्बुलेंस से घायलों को अस्पताल पहुंचाया।

सोनीपत में कच्चे क्वार्टर बाजार में फायर ब्रिगेड की गाड़ियां पहुंचीं। शाम 4:00 बजे सायरन के साथ निकासी और आग बुझाने का अभ्यास किया गया।

हिसार में नगर निगम कार्यालय में मॉक ड्रिल की गई। फायर ब्रिगेड और पुलिस ने नकली आग और फायरिंग की स्थिति में समन्वय दिखाया।

कुरुक्षेत्र जिला सचिवालय में 10 मिनट की मॉक ड्रिल किया। प्रशासनिक विभागों ने शानदार तालमेल दिखाया।

सिरसा में डबवाली एसपी कार्यालय में मंगलवार को रिहर्सल। 7 मई को डबवाली और सिरसा शहर में सायरन अभ्यास किया गया।

 

पहलगाम हमले के बाद भारत ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत पाकिस्तान में नौ आतंकी ठिकानों पर हमले किए, जिसमें जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर के परिवार के 10 सदस्य और चार सहयोगी मारे गए। पाकिस्तान ने जवाबी कार्रवाई की धमकी दी है, जिसके चलते भारत ने सीमावर्ती राज्यों में सतर्कता बढ़ा दी। हरियाणा, जो पंजाब और राजस्थान के जरिए पाकिस्तान सीमा से सटा है, में यह मॉक ड्रिल विशेष रूप से महत्वपूर्ण है।

नागरिकों से अपील

प्रदेश के नागरिकों से मॉक ड्रिल के दौरान शांति बनाए रखने और सायरन सुनकर घबराने की बजाय प्रशासन के निर्देशों का पालन करने की अपील की। उन्होंने कहा, “यह अभ्यास हमारी सुरक्षा और तैयारियों को मजबूत करने के लिए है। नागरिकों से बिजली बंद करने, आपातकालीन किट (टॉर्च, पानी, प्राथमिक चिकित्सा सामग्री) तैयार रखने, और अफवाहों से बचने को कहा गया है।

कनीना में माक ड्रिल के तहत आपातकालीन हालात से निपटने का किया अभ्यास

उपमंडल अधिकारी कार्यालय कनीना में बुधवार शाम चार बजे मॉक ड्रिल का आयोजन कर आपातकालीन स्थिति में बचाव के लिए प्रशिक्षण दिया गया। पुलिस, स्वास्थ्य, दमकल व अन्य विभागों अधिकारियों व कर्मचारियों ने आपातकालीन हालात से निपटने के लिए संयुक्त रूप से अभ्यास किया गया। उपमंडल अधिकारी डाॅ. जितेंद्र सिंह अहलावत ने बताया कि यह मॉक ड्रिल बढ़ते सुरक्षा खतरे और वर्तमान समय में हालातों को ध्यान में रखते हुए केंद्र सरकार की ओर से सभी जिलों में करवाई गई है।

अभ्यास के दौरान हवाई हमले की चेतावनी देने वाले विशेष सायरन का संचालन किया गया। इस दौरान तेज व कंपन युक्त आवाज का सायरण बजाते हुए विभागों के कर्मचारियों को सुरक्षा, चिकित्सा सहित अन्य उपायों से अवगत कराया गया। आम नागरिकों को आपतकालीन समय में बजाए जाने वाले सायरन की पहचान के बारे में अवगत कराया। लोगों को हमले की स्थिति में क्या-क्या एहतियात कदम उठाने चाहिए, इसका प्रशिक्षण भी दिया गया। प्रशासन की ओर से माक ड्रिल को लेकर किसी भी तरह की अफवाह पर ध्यान न देने व प्रशासन के दिशा-निर्देशों का पालन की अपील की।

यमुनानगर के सिटी मॉल में की गई मॉक ड्रिल, सायरन बजाते हुए पहुंची रेस्क्यू टीमें

श्रीनगर के पहलगाम में करीब दो सप्ताह पहले आतंकवादियों द्वारा किए गए नरसंहार के विरोध में भारत ने भी पाकिस्तान पर हमला किया। इस हमले को लेकर तथा भारत-पाकिस्तान के बीच होने वाले युद्ध को देखते हुए बुधवार को प्रदेश के मुख्य सचिव द्वारा सभी जिला उपायुक्तों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से बैठक की गई और इस बैठक के बाद सुरक्षा की दृष्टि से जिला उपायुक्त पार्थ गुप्ता तथा जिला पुलिस अधीक्षक सुरेंद्र सिंह द्वारा गाइडलाइन जारी की गई।

 

इसके बाद शहर के सिटी मॉल में मॉक ड्रिल का आयोजन किया गया। मॉक ड्रिल को देखने वालों की भी अच्छी खासी भीड़ यहां जुट गई थी। मॉक ड्रिल में शामिल पुलिस, फायर ब्रिगेड, एनसीसी कैडेट, पब्लिक वर्क्स डिपार्मेंट, रेड क्रॉस तथा सिविल डिफेंस के सदस्य शामिल हुए। मॉक ड्रिल के माध्यम से एक अभ्यास किया गया कि यदि युद्ध की स्थिति में कहीं पर बमबारी हो जाए या फिर कोई ऐसी स्थिति पैदा हो जाए जहां से लोगों को निकल जाना हो तो उन्हें किस प्रकार निकाला जा सकता है।

यहां भी यही अभ्यास करने का प्रयास किया गया। कंट्रोल रूम से प्रशासन को सूचना मिलेगी सिटी मॉल में हमला हुआ है और वहां पर कैजुअल्टी हुई जिसके चलते सभी विभाग जो कि पहले से ही चौकस थे तुरंत मौके पर पहुंचे। यहां उनके साथ जिले के तमाम अधिकारी भी पहुंचे। यहां पहुंचते ही बचाव दल ने अपना कार्य शुरू किया और लोगों को रेस्क्यू करते हुए लगभग 50 लोगों की जान बचाई।

कैथल में बजा सायरन और आवाज गूंजते ही बचाव दल ने घायलों को पहुंचाया अस्पताल

बजा सायरन और आवाज गूंजते ही बचाव दल पहुंचा और घायलों को अस्पताल पहुंचा दिया। डरें नहीं......यह वास्तविक स्थिति में नहीं, बल्कि पाकिस्तान पर किए गए एयर स्ट्राइक के बाद किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए की मॉक ड्रिल की प्रक्रिया के दौरान किया गया। दरअसल, सरकार के आदेशों के तहत बुधवार शाम चार बजे जिला प्रशासन ने जिलावासियों को आपात स्थिति में निपटने व इससे सतर्कता को लेकर मॉक ड्रिल का आयोजन किया गया था।

 

प्रशासन की ओर से मॉक ड्रिल के लिए जिलेभर में चार स्थान सुनिश्चित किए गए थे। इसमें सोलू माजरा गांव स्थित साइलोज भंडारण स्थल, शहर के अंबाला रोड स्थित झुग्गी झोपड़ियों, नगर पालिका पूंडरी परिसर और कांगथली गांव स्थित पावर प्लांट शामिल रहा। इन चारों जगहों के लिए डीसी प्रीति की ओर से अलग से ड्यूटी मजिस्ट्रेट नियुक्ति किए गए थे।

 

इनमें एयर स्ट्राइक होने की स्थिति में डीसी प्रीति व एसडीएम अजय सिंह की अगुवाई में अंबाला रोड स्थित झुग्गी झोपड़ियों, एडीसी दीपक बाबू लाल करवा की अगुवाई में सोलू माजरा स्थित साइलोज भंडारण स्थल और भीड़ भाड़ की जगह पर भवन गिरने की स्थिति पर एसपी आस्था मोदी की अगुवाई में नगर पालिका पूंडरी परिसर में और नायब तहसीलदार बंसीलाल की अगुवाई में कांगथली स्थित पावर प्लांट में मॉक ड्रिल का आयोजन किया।

 

जगह नंबर एक

अंबाला रोड स्थित झुग्गी झोपड़ियों में एयर स्ट्राइक पर सायरनों की आवाज गूंजते ही बचाव दल मौके पर पहुंचना शुरू हो गए। जिसमें फायर ब्रिगेड, पुलिस, एंबुलेंस व प्रशासनिक अधिकारी मौके पर पहुंचे और बचाव कार्य शुरू किया। डीसी प्रीति भी तुरंत मौके पर पहुंचीं। उनकी निगरानी में पूरा बचाव एवं राहत कार्य चला। अभ्यास के तौर पर रेडक्रॉस के वॉलंटियर्स हमले की स्थिति में घायल होने पर लोगों को पीठ पर व स्ट्रेचर पर उठाकर बाहर लाया गया। उन्हें तुरंत एंबुलेंस से अस्पताल पहुंचाया। इसके अलावा दमकल की गाड़ियों ने भी अभ्यास के तौर पर आगजनी पर काबू पाया गया। डीसी प्रीति ने सभी झोपडिय़ों के निवासियों को सुरक्षा मानकों की जानकारी दी।

 

डीसी प्रीति ने कहा कि यह केवल अभ्यास है। यदि वास्तव में कोई ऐसी स्थिति आती है तो सावधानी से अपना बचाव करें। प्रशासन हर स्थिति से निपटने के लिए तैयार है। स्वयं भी लोग जागरूक हों और आपात स्थिति में किए जाने वाले सभी उपायों की पालना सुनिश्चित करें। डीसी ने सभी अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि किसी भी स्थिति में नागरिक सुरक्षा सर्वोपरि है। इसके अलावा ऐसी स्थिति में बचाव एवं राहत कार्य के लिए एक मजबूत डिजास्टर प्लान होना चाहिए, ताकि समय रहते राहत एवं बचाव कार्य करते हुए नुकसान को कम किया जा सके। चारों जगह आयोजित मॉक ड्रिल के दौरान जो भी जरूरतें पता चली हैं, उन पर काम करते हुए मजबूत योजना तैयार की जाएगी।

 

उन्होंने कहा कि किसी भी आपात स्थिति से निपटने के लिए हम सबको तैयार रहना चाहिए। हमें आपात स्थिति में चौंकना नहीं, बल्कि चौकन्ना रहना चाहिए। इस मॉक ड्रिल का उद्देश्य नागरिक आबादी को किसी भी आपात स्थिति के लिए तैयार करना और ऐसी विकट स्थिति के दौरान हर हाल में दहशत की संभावनाओं को कम करना है। सभी आमजन जागरूक के साथ-साथ अलर्ट रहें। किसी भी भ्रामक अफवाहों पर ध्यान न दें, बल्कि प्रशासन द्वारा उपलब्ध करवाई जा रही जानकारी पर ही विश्वास करें। इस अभ्यास का उद्देश्य तैयारी और सावधानी बरतनी है, न कि घबराहट को बढ़ाना।

 

जगह नंबर दो

सोलूमाजरा स्थित साइलों में भी शाम चार बजे अचानक सायरन बजा तो गेहूं भंडारण स्थल सहित कार्यालय से कर्मचारी दौड़ते हुए खुले स्थान पर पहुंचें। प्रशासन की ओर से एडीसी दीपक बाबू लाल करवा की अगुवाई में एंबुलेंस, दमकल विभाग की गाड़ी, डायल 112 व एसएचओ ढांड मौके पर पहुंचें। प्रतीकात्मक तौर पर घायलों को एंबुलेंस से अस्पताल पहुंचाया गया। यहां लगी आग को भी दमकल विभाग की गाड़ी की मदद से काबू पाया गया। एडीसी दीपक बाबू लाल करवा ने यहां कर्मचारियों सहित प्रबंधन को कहा कि यह एक मॉक ड्रिल है। हवाई हमला होने, भूकंप आने या फिर आगजनी आदि की घटना होने की स्थिति में इस प्लांट में एक डिजास्टर प्लान होना चाहिए। ताकि समय रहते बचाव कार्य शुरू किए जा सकें। उन्होंने कहा कि प्रशासन हर स्थिति में सहायता को तैयार है। स्वयं यहां काम करने वाले कर्मचारी सहित प्रबंधन को भी डिजास्टर को लेकर सजग रहना होगा।

 

जगह नंबर तीन

उधर, गांव कांगथली में स्थित पॉवर प्लांट में भी सायरन की आवाज बजते ही बचाव एवं राहत दल पहुंचा। एंबुलेंस में कुछ लोगों को अस्पताल पहुंचाया गया। इसके अलावा आगजनी पर काबू पाने का भी पूर्वाभ्यास किया गया। डीएसपी गुहला कुलदीप बेनीवाल ने पुलिस अधिकारियों व मौके पर मौजूद लोगों को आपात स्थिति से निपटने के लिए आवश्यक जानकारी दी। नायब तहसीलदार बंसीलाल ने भी आवश्यक जानकारी दी।

 

इससे पूर्व डीसी व एसपी ने बताया कि आमजन से आपात स्थिति के दौरान बरती जाने वाली सावधानियों का पालन करने की अपील की। डीसी ने बुधवार को ही शाम के समय आयोजित हुई मॉक ड्रिल व रात्रि के समय हुए ब्लैक आउट के बारे में जानकारी दी। किसी भी आपात स्थिति को देखते हुए जिले में एक कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है। लघु सचिवालय स्थित द्वितीय तल के कमरा नंबर 324 में यह कंट्रोल रूम स्थापित किया है। जहां संपर्क करने के लिए टोल फ्री नंबर 18001801332 है। यहां 24 घंटे कर्मचारी तैनात रहेंगे। इस कंट्रोल रूम में किसी भी आपात स्थिति की जानकारी दी जा सकती है।

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